15 दिवसीय समेकित पोषक तत्व प्रबंधन पर तीसरे बैच का प्रशिक्षण शुरू
गया : कृषि प्रौद्योगिकी प्रबन्ध अभिकरण (आत्मा), गया* के द्वारा संयुक्त कृषि भवन, बाजार समिति के सभाकक्ष में *15 दिवसीय समेकित पोषक तत्व प्रबंधन के सर्टिफिकेट कोर्स के तीसरे बैच का शुभारम्भ* संयुक्त निदेषक, शष्य मगध प्रमण्डल, गया श्री रतन कुमार भगत ने दीप प्रज्जवलित कर किया। इस अवसर पर उनके साथ जिला कृषि पदाधिकारी, गया श्री सुदामा महतो, परियोजना निदेषक, आत्मा, गया श्री रविन्द्र कुमार, उप परियोजना निदेषक, आत्मा, गया श्री नीरज कुमार वर्मा, सहायक निदेषक, रसायन, मिट्टी जाॅच, गया श्री ललन कुमार सुमन एवं जिला परामर्षी श्री सुदामा सिंह उपस्थित थे।
यह सर्टिफिकेट कोर्स राष्ट्रीय कृषि विस्तार प्रबंधन संस्थान (मैनेज), हैदराबाद द्वारा भारत सरकार कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के दिषा-निर्देष में वर्तमान एवं भावी उर्वरक विक्रेताओं के द्वारा किसानों को दिये जाने वाले परामर्ष को वैज्ञानिक स्वरुप प्रदान करने के उद्देष्य से तैयार किया गया है। प्रषिक्षण में कुल 30 प्रतिभागी भाग ले रहे हैं जिसमें एक महिला प्रषिक्षणार्थी भी सम्मिलित हैं। प्रषिक्षण में 18 थेयोरी सत्र एवं 05 प्रायोगिक सत्र निर्धारित है। 8 दिनों के बाद मिडटर्म परीक्षा एवं 15 दिनों के बाद अंतिम परीक्षा ली जायेगी। परीक्षा पास करने के लिये न्यूनतम 40 प्रतिषत अंक प्राप्त करना अनिवार्य है।
अपने संबोधन में संयुक्त निदेषक ने कहा कि यह एक ऐसा पाठ्यक्रम है जिसका प्रमाण-पत्र देष के एक बहुत ही प्रतिष्ठित संस्थान मैनेज के द्वारा दिया जा रहा है, सभी प्रषिक्षणार्थियों को इस प्रषिक्षण में बताये एवं सिखाई जाने वाली तकनीकों को गंभीरता से सीखना है क्योंकि इसी के आधार पर वे आगे किसानों को ये जानकारी दे सकेंगें।
जिला कृषि पदाधिकारी, गया ने कहा कि प्रषिक्षण कार्यक्रम का विषय बहुत ही रोचक है एवं आज की आवष्यकता के अनुसार तैयार कराया गया है, प्रषिक्षणार्थियों को इन विषयों को अपने अनुभवों के साथ जोड़कर याद करने की कोषिष करनी चाहिये जिससे वे इनके व्यवहारिक ज्ञान से लाभान्वित हो सकेंगें।
आज के कार्यक्रम में उप परियोजना निदेषक, आत्मा, गया श्री नीरज कुमार वर्मा ने प्रषिक्षण के उद्देष्य एवं कार्यक्रम की रुप रेखा के विषय में विस्तार से जानकारी दी। श्री सुदामा सिंह ने समेकित पोषक तत्व प्रबंधन के बारे में जानकारी दी। श्री ललन कुमार सुमन ने मिट्टी जाॅच एवं मृदा स्वास्थ्य कार्ड के बारे में विस्तार से बताया।
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