गया, 25 जून (अंज न्यूज़ मीडिया)
इसकी अध्यक्षता जिलाध्यक्ष प्रेमप्रकाश चिंटू सिंह द्वारा किया गया। गोष्ठी का मुख्य वक्ता के रूप में बिहार विधानसभा में मुख्य विरोधी दल के मुख्य सचेतक जनक सिंह ने संबोधित करते हुए कहा आज से 48 वर्ष पूर्व 25 जून 1975 को संवैधानिक ढांचा एवं लोकतंत्र की हत्या तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी द्वारा किया गया एवं इस संघीय ढांचे का स्वयं फायदा के लिए आपातकालीन का सहारा लिया।
इस आपातकाल का पूरे देश में विरोध होने लगा इंदिरा गांधी के तानाशाह के रूप में शासक करते हुए निर्दोष आंदोलनकारियों पर गोली चलवा कर हत्या करा दी। आंदोलन कर रहे नेताओं को जेल में बंद कर कई तरह की यातनाएं दीं गई।
उपरोक्त बातों को याद कर आज भी दिल सहम जाता है। लोकतंत्र की हत्या करने वाले दलों के लोगों द्वारा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को बदनाम करने के लिए विदेशों में जाकर भारतीय लोकतंत्र का आलोचना करते हैं।
जबकि भारतीय लोकतंत्र का विदेशों में भी प्रशंसा की जाती हैं। इस काला दिन का हमलोग विरोध दिवस मनाते रहेंगे। क्योंकि सत्ता में आते ही उन पर सत्ता का नशा चढ़ जाता है और सिर्फ घोटाला करते हैं।