प्रमण्डल स्तरीय विकास कार्यों की समीक्षा


मगध प्रमण्डलीय विकास कार्यों की समीक्षा
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गया : आयुक्त, मगध प्रमंडल श्री असंगवा चुबा आओ की अध्यक्षता में आयुक्त सभागार में विकासात्मक कार्यों की समीक्षा बैठक की गई। आयुक्त महोदय ने उपस्थित सभी पदाधिकारियों को नए साल के विकासात्मक कार्य के प्रथम बैठक होने पर सभी को शुभकामनाएं दी। उन्होंने कहा कि वित्तीय वर्ष अंतिम चरण में है। जिन विभागों के कार्य लंबित हैं उन्हें अविलंब पूर्ण कराएं। उन्होंने कहा कि यदि कोई नागरिक या आम जनता अपनी समस्या को लेकर आपसे मिलता है तो उसे सुनकर समस्या का निराकरण अवश्य करें। उन्होंने सभी विभागों के पदाधिकारी को निर्देश दिया कि किसी भी कार्य में कोई लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। सरकार की कई सारी योजनाएं चलाई जा रही हैं। पदाधिकारी जब फील्ड में जाते हैं तो उन्हें आम नागरिकों से उस पंचायत या प्रखंड में हो रहे कार्य का फीडबैक अवश्य लें और यदि कहीं कार्य में कमियां पाई जाती हैं तो उस खामियों को *ऑन द स्पॉट* दूर कराएं।

प्रमण्डल स्तरीय विकास कार्यों की समीक्षा, AnjNewsMedia
आयुक्त समीक्षा बैठक करते 

स्वास्थ्य विभाग की समीक्षा के दौरान उन्होंने निर्देश दिया कि किसी भी परिस्थिति में दवा एक्सपायर नहीं होनी चाहिए और न ही दवा बर्वाद होना चाहिए। सिविल सर्जन गया द्वारा बताया गया कि दवा एक्सपायर होने से पहले संबंधित दवा को विभाग में भेज दिया जाता है। उन्होंने कहा कि ड्रग इंस्पेक्टर द्वारा हर 3 महीने पर सभी पीएचसी, एपीएचसी, रेफरल अस्पताल और जिला अस्पताल में जांच कराया जाता है। आयुक्त महोदय ने सभी अस्पतालों के दवा स्टोर कीपर से समय-समय पर मॉनिटरिंग करते रहने का निर्देश दिया। उन्होंने सिविल सर्जन को निर्देश दिया कि सिर्फ रिपोर्ट बनाकर भेजने से कार्य नहीं चलेगा क्वालिटी मॉनिटरिंग करने की आवश्यकता है। ग्राउंड लेवल पर मॉनिटरिंग किया जाए तब स्वास्थ्य विभाग में काफी हद तक सुधार होगा। स्वास्थ्य विभाग के बिहार के 38 जिलों के रैंकिंग में पाया गया कि नवादा जिले को अक्टूबर 2019 में 19 वाँ रैंक एवं नवंबर 2019 में 34 वाँ रैंक प्राप्त हुआ। उसी प्रकार गया जिला को अक्टूबर 2019 में 24 वाँ एवं नवंबर 2019 में 26 वाँ रैंक प्राप्त हुआ। आयुक्त महोदय ने नवादा एवं गया जिला के रैंकिंग संतोषजनक नहीं पाए जाने पर फटकार लगायी एवं अगले महीने में प्रगति नहीं होने पर विभाग से शिकायत करने की बात कही।
आयुक्त महोदय ने मगध प्रमंडल के सभी सिविल सर्जन को हाईवे साइड और जीटी रोड साइड के हॉस्पिटल को हर तरह से दुरुस्त करने का निर्देश दिया। उन्होंने जहानाबाद जिला के मखदुमपुर सरकारी अस्पताल में सभी तरह के सुविधाएं उपलब्ध रखने का निर्देश दिया। बैठक में उन्होंने बताया कि यदि कोई व्यक्ति बीमार होता है तो सबसे पहले वह प्राइवेट हॉस्पिटल की ओर जाता है न की सरकारी हॉस्पिटल की ओर। उन्होंने कहा कि सभी सरकारी अस्पतालों में ऐसी व्यवस्था रखी जाए जिससे सभी मरीज जब बीमार पड़ते हैं तो वह पहले सरकारी अस्पतालों में आएं।
उन्होंने कहा कि कर्नाटक के रिमोट एरिया में भी सरकारी हॉस्पिटल काफी अच्छा है उसी तर्ज पर प्रमंडल के सभी हॉस्पिटल में फैसिलिटी उपलब्ध कराने का निर्देश दिया ताकि मरीज अपने आप सरकारी अस्पतालों की ओर रुचि दिखाएं। उन्होंने कहा कि अस्पतालों की साफ सफाई में कोई कोताही बर्दाश्त नहीं की जाएगी यदि कहीं साफ सफाई में कोताही बरतने की सूचना पाई जाती है तो संबंधित सिविल सर्जन पर कठोर कार्रवाई की जाएगी।
गोल्डन कार्ड की प्रगति में बताया गया कि नवादा जिले में 3385, अरवल में 5198, गया में 16607, जहानाबाद में 28966 एवं औरंगाबाद में 25380 गोल्डन कार्ड जनरेट किया गया है। आयुक्त महोदय ने नवादा जिले में खराब प्रगति रहने पर फटकार लगायी। उन्होंने गोल्डन कार्ड अंतर्गत प्राइवेट हॉस्पिटलों को पैनल में लाने के प्रक्रिया में तेजी लाने का निर्देश दिया। बैठक में बताया गया कि अरवल एवं जहानाबाद में अब तक एक भी प्राइवेट अस्पताल पैनल में नहीं लिया गया है।
इंस्टीट्यूशनल डिलीवरी की प्रगति की समीक्षा में नवादा एवं जहानाबाद जिले में प्रगति खराब रहने पर आयुक्त महोदय ने प्रगति में तेजी लाने का निर्देश दिया। सिजेरियन डिलीवरी की प्रगति की समीक्षा के दौरान बताया गया कि वर्ष 2018 में जहानाबाद में सिजेरियन डिलीवरी 50% हुई थी एवं 2019 में 37% हुई है। वही नवादा जिले में 2018 में 12% एवं 2019 में 11% , औरंगाबाद में 2018 में 17% एवं 2019 में 18% हुई है। आयुक्त महोदय ने सिजेरियन डिलीवरी की प्रगति में कमी को देखते हुए जहानाबाद एवं नवादा के सिविल सर्जन से स्पष्टीकरण पूछने का निर्देश दिया।
इसके उपरांत उन्होंने कालाजार एवं मलेरिया के संदर्भ में सभी सिविल सर्जन से एक-एक कर जानकारी ली। उन्होंने सभी सिविल सर्जन को निर्देश दिया कि प्रमंडल के सभी पीएचसी में फागिंग मशीन विभाग द्वारा दिया जा चुका है परंतु ऐसा देखा गया कि अधिकतर अस्पतालों में वह मशीन अब तक सील पैक ही रखा हुआ है। उन्होंने सभी सिविल सर्जन को निर्देश दिया गया कि अपने अपने सभी पीएचसी में फागिंग कराते रहें। चाइल्ड डेथ रिपोर्ट की समीक्षा में उन्होंने बताया कि चाइल्ड डेथ रिपोर्ट को गंभीरता से लें। समय-समय पर इसकी मॉनिटरिंग करते रहें यदि कहीं चाइल्ड डेथ की सूचना मिलती है तो उसमें कोई कोताही न बरतें समय पर उपचार कराते रहें।
शिक्षा विभाग की समीक्षा के दौरान उन्होंने प्रमंडल के सभी शिक्षा पदाधिकारी से मध्याह्न भोजन की जानकारी प्राप्त की। समीक्षा के दौरान बताया गया कि औरंगाबाद ज़िले के प्राथमिक विद्यालय हाजीपुर, प्राथमिक विद्यालय ठेंगवा, प्राथमिक विद्यालय गोह एवं प्राथमिक विद्यालय मदनपुर में साथ ही नवादा जिले के मध्य विद्यालय दिरमोबारा एवं उत्क्रमित मध्य विद्यालय छनौन में अब तक मध्याह्न भोजन प्रारंभ नहीं किया गया है। आयुक्त महोदय ने कहा कि किसी भी परिस्थिति में मध्यान भोजन बंद नहीं रहना चाहिए। उन्होंने संबंधित प्रधानाध्यापक से स्पष्टीकरण की मांग करने का निर्देश संबंधित शिक्षा पदाधिकारी को दिया।
बैठक के दौरान बताया गया कि रामप्यारी हाई स्कूल चिरैली गया के प्रधानाध्यापक द्वारा छात्रवृत्ति दस्तावेज अपलोड नहीं होने के कारण उस विद्यालय के सभी छात्राएं छात्रवृत्ति से वंचित हो गए। आयुक्त महोदय ने संबंधित प्रधानाध्यापक पर कठोर कार्रवाई करने का निर्देश दिया साथ ही अगली बैठक में रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश दिया।
कृषि विभाग की समीक्षा में उन्होंने मगध प्रमण्डल के सभी कृषि पदाधिकारी को कहा कि किसी भी प्रखंड में पराली नहीं जलाया जाएगा। रवि (गेहूं) का फसल अच्छादन की समीक्षा में गया में 99%, जहानाबाद में 86%, अरवल में 61%, नवादा में 100% एवं औरंगाबाद में 80% अच्छादन पाया गया। अरवल जिले में रवि (गेहूं) का अच्छादन कम पाए जाने पर कृषि पदाधिकारी अरवल को रवि (गेहूं) की रिपोर्ट अद्यतन करने का निर्देश दिया।
जल जीवन हरियाली योजना के तहत कृषि पदाधिकारी औरंगाबाद को मदनपुर पहाड़ क्षेत्र एवं गया जिले के मोहड़ा प्रखंड अंतर्गत जेठीयन पहाड़ गेहलौर में वाटर हार्वेस्टिंग टैंक निर्माण कराने का सुझाव दिया गया ताकि जल संचयन किया जा सके। उन्होंने कृषि पदाधिकारी को निर्देश दिया कि पहाड़ नुमा स्ट्रक्चर को चिन्हित कर सभी में वाटर हार्वेस्टिंग टैंक का निर्माण कराया जाए। उन्होंने कहा कि यदि वन विभाग की जमीन पाई जाती है तो उस संबंधित पहाड़ों का लिस्ट लाएं ताकि ससमय एनओसी उपलब्ध कराया जा सके।
समीक्षा के अंत में आयुक्त महोदय ने उपस्थित सभी पदाधिकारी को निर्देश दिया कि बिहार सरकार द्वारा लोक शिकायत निवारण अधिकार अधिनियम को प्राथमिकता देते हुए सभी पदाधिकारी अपने अपने जिला में लंबित मामलों का निवारण करें एवं ससमय लोक शिकायत निवारण कार्यालय में उपस्थित होकर ससमय मामलों का निष्पादन करें। उन्होंने कहा कि लोक शिकायत के मामलों में सरकार काफी गंभीर है। यदि कोई पदाधिकारी लोक शिकायत के मामले का निष्पादन ससमय नहीं करता है तो उससे फाइन की वसूली की जाती है उसके उपरांत प्रपत्र *क* भरा जाता है फिर विभागीय कार्रवाई होती है उसके बाद भी वह पदाधिकारी सचेत नहीं होते हैं तो उन्हें जबरन सेवानिवृत्त कर दिया जाता है।
बैठक में आयुक्त के सचिव, क्षेत्रीय विकास पदाधिकारी, उप निदेशक स्वास्थ्य, उपनिदेशक शिक्षा, संयुक्त निदेशक कृषि, क्षेत्रीय निदेशक पशुपालन, उपनिदेशक कल्याण, उपनिदेशक सांख्यिकी, संयुक्त निबंधक सहयोग समितियां एवं जिला स्तरीय संबंधित पदाधिकारी उपस्थित थे।

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