Chhath Prav ! Kharna End: छठ के दूसरे दिन! खरना के महा प्रसाद का भोग लगाए लोग

छठ पर्व का आज खरना खत्म

छठ के तीसरे दिन यानि कल, डूबते हुए सूर्य को दिया जाएगा अर्ध्य 


Chhath Prav ! Kharna End: छठ के दूसरे दिन! खरना के महा प्रसाद का आज भोग लगाए लोग, AnjNewsMedia
खरना का
महा प्रसाद बनाई
और भोग लगाई व्रती

आज व्रतियों ने पूरी शुद्धता के साथ खरना का महा प्रसाद बनाई और भोग लगाई। छठ महापर्व का आज पावन खरना का महा प्रसाद लोगों ने ग्रहण किये। 

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लोक आस्था एवं विश्वास का प्रतीक है छठ महापर्व। जिसे धूमधाम के साथ मनाया जाता है। गाँव- शहर में पूरी तरह लोगों का चहल- पहल रहा। खरना का महा प्रसाद ग्रहण करने का शुभ दिन है। ज्ञात हो छठी मईया के खरना के महा प्रसाद से हीं भक्तों का क्लेश रूपी विषम समय में बदलाव शुरू होता है। और धीरे- धीरे वर्तियों की हरेक मनोकामना पूरी होती जाती है। छठी मईया की ऐसी ! असीम कृपा है। उनकी दया भक्तों पर सदैव बना रहता है। इस तरह से भक्तों का जीवन खुशहाली से भरता जाता है।

 


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खरना का
महा प्रसाद

इस मौके पर व्रतियों ने छठी मईया से सुख- समृद्धि की कामना करते हैं। खरना उपरांत कल डूबते हुए सूर्य को अर्ध्य प्रदान किया जाएगा।  उसके बाद  फिर कल होकर उगते हुए सूर्य को सुबह का अर्ध्य प्रदान किया जाता है। मान्यता ऐसी है इस पूजा से छठी मईया खुश होकर भक्तों को वरदान देतीं है। जिससे सुख- शांति और धन- वैभव सहित उन्नति का मार्ग प्रशस्त करते हैं। जिससे भक्तों की मनोकामना पूर्ण होती है। समस्त संकट व्रतियों की व्रत से दूर हो जाता है। छठ माता सबों का कल्याण करती हैं, ऐसी मान्यता है। बिल्कुल धार्मिक वातावरण में छठ पर्व हर्षोल्लास से मनाया जाता है। 

इस पर्व को मनाने के लिए विभिन्न प्रकार के फल- फूल से भगवान भास्कर को जल में खड़े होकर व्रती  अर्ध्य देते हैं। इस विधान से छठ माता बेहद खुश होते और भक्तों का सर्व संकट हर लेते हैं।

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बाजार में सज गई फल-फूल की दुकान 

जाहिर हो डूबते हुए सूर्य को अर्ध्य देने के लिए पुआ- पकवान समेत फल- फूल की ज़रूरत होती है।

बाजार में फल- फूल की दुकान सज गई है। दुकान में फलों की भरमार है। छठ के वजह से बाजार गुलज़ार है। व्यापक पैमाने पर फल सहित सूप- दौरा इत्यादि की खरीददारी होती है।

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